मध्यप्रदेश का 70वां स्थापना दिवस समारोह "अभ्युदय मध्यप्रदेश" के रूप में अपार हर्षोल्लास और भव्यता के साथ मनाया जाएगा। एक से 3 नवम्बर 2025 तक भोपाल के लाल परेड ग्राउंड में आयोजित होने वाला यह मुख्य समारोह प्रदेश की सांस्कृतिक, आर्थिक और सामाजिक यात्रा का उत्सव होगा। इस वर्ष का आयोजन “उद्योग एवं रोजगार वर्ष” की थीम पर केंद्रित है, जो राज्य के निरंतर विकास, सांस्कृतिक समृद्धि और जनभागीदारी की भावना को दर्शाता है। मुख्य कार्यक्रम में नागरिक उड्डयन मंत्री श्री किंजरापु राममोहन नायडू एवं केंद्रीय राज्यमंत्री (स्वतंत्र प्रभार) कानून एवं न्याय श्री अर्जुन राम मेघवाल मुख्य अतिथि के रूप में उपस्थित रहेंगे। संस्कृति, पर्यटन और धार्मिक न्यास एवं धर्मस्व राज्य मंत्री (स्वतंत्र प्रभार) धर्मेंद्र भाव सिंह लोधी ने बताया कि अभ्युदय मध्यप्रदेश केवल उत्सव नहीं बल्कि एक साझा प्रयास है। यह समारोह हमारे प्रदेश की प्रगति, परंपरा और परिश्रम की यात्रा का प्रतिबिंब है। मुख्यमंत्री डॉ. यादव के नेतृत्व में हम इस आयोजन को प्रदेशव्यापी स्वरूप दे रहे हैं, ताकि हर जिला इस उत्सव से जुड़ सके। राज्य मंत्री ने कार्यक्रमों की विस्तृत जानकारी देते हुए बताया कि मुख्य समारोह प्रतिदिन सायं 6:30 बजे से शुरू होगा। पहले दिन समारोह का शुभारंभ 2000 ड्रोन के भव्य शो से होगा, जो "विरासत से विकास" को आकर्षक आकृतियों के माध्यम से प्रदर्शित करेगा। इसके बाद 500 से अधिक कलाकारों की "विश्ववंद - श्रीकृष्ण की सांगीतिक यात्रा" की समवेत प्रस्तुति होगी। बाद में सुप्रसिद्ध पार्श्वगायक जुबिन नौटियाल एवं ग्रुप, मुम्बई द्वारा सुगम संगीत की प्रस्तुति दी जाएगी। इस दौरान भव्य आतिशबाजी भी की जाएगी।
दादा साहब फाल्के पुरस्कार चयन समिति की सिफारिश पर, भारत सरकार ने आज घोषणा की कि श्री मोहनलाल को वर्ष 2023 के लिए प्रतिष्ठित दादा साहब फाल्के पुरस्कार से सम्मानित किया जाएगा। महान अभिनेता, निर्देशक और निर्माता को भारतीय सिनेमा में उनके विशिष्ट योगदान के लिए सम्मानित किया जा रहा है। यह पुरस्कार उन्हें 23 सितंबर, 2025 को 71वें राष्ट्रीय फिल्म पुरस्कार समारोह में प्रदान किया जाएगा।केंद्रीय सूचना एवं प्रसारण, रेलवे और इलेक्ट्रॉनिकी एवं सूचना प्रौद्योगिकी मंत्रीअश्विनी वैष्णव ने आज भारतीय सिनेमा में मोहनलाल के असाधारण योगदान के सम्मान में पुरस्कार की घोषणा करते हुए प्रसन्नता व्यक्त की।मोहनलाल की उल्लेखनीय सिनेमा यात्रा पीढ़ियों को प्रेरणा देती रहेगी। उनकी बेजोड़ एवं बहुमुखी प्रतिभा और निरंतर कड़ी मेहनत ने भारतीय फिल्म इतिहास में स्वर्णिम मानक स्थापित किया है। मोहनलाल के विषय में मोहनलाल विश्वनाथन नायर (जन्म 21 मई 1960, केरल) एक प्रशंसित भारतीय अभिनेता, निर्माता और पार्श्व गायक हैं, जिन्हें मलयालम सिनेमा में उनके काम के लिए जाना जाता है। वह व्यापक रूप से एक "पूर्ण अभिनेता" के रूप में जाने जाते हैं। लगभग पांच दशकों के अपने करियर में वह 360 से अधिक फिल्मों में दिखाई दिए हैं, जिन्होंने किरीडम, भारतम, वानप्रस्थम, दृश्यम और ऐसी अन्य कई फिल्में हैं जिनमें उन्होंने ऐतिहासिक प्रदर्शन किया है।
मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने कहा कि हमारे प्रदेश में शूट हुई फिल्म होमबाउंड को ऑस्कर के लिए चुना गया है। यह न केवल फिल्म जगत के लिए, बल्कि पूरे मध्यप्रदेश के लिए एक अभूतपूर्व गौरव का क्षण है। मध्यप्रदेश फिल्म पर्यटन नीति 2025 ने सिंगल विंडो सिस्टम, पारदर्शी प्रक्रिया और अनुमतियों को कम एवं सरल कर फिल्मांकन को आसान बनाया है। साथ ही आकर्षक वित्तीय प्रोत्साहन भी उपलब्ध कराए हैं। होमबाउंड का मध्यप्रदेश में फिल्माया जाना और उसका अंतर्राष्ट्रीय स्तर पर सम्मानित होना इस बात का प्रमाण है कि मध्यप्रदेश तेजी से एक प्रमुख ग्लोबल शूटिंग हब के रूप में स्थापित हो रहा है। यह सफलता हमारे प्रदेश की समृद्ध संस्कृति, प्राकृतिक सौंदर्य और कला के प्रति हमारे समर्पण को दर्शाती है। मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने कहा कि यह उपलब्धि प्रदेश के उन सभी युवा फिल्म निर्माताओं के लिए प्रेरणा बनेगी जो अपने सपनों को पंख देना चाहते हैं। फिल्म होमबाउंड का चयन भारतीय सिनेमा में एक महत्वपूर्ण मील का पत्थर साबित हो सकता है, जो मध्यप्रदेश की कलात्मक और सांस्कृतिक विरासत को वैश्विक मंच पर प्रस्तुत करेगा। मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने विश्वास जताया कि होमबाउंड ऑस्कर में भी शानदार सफलता हासिल करेगी और भारत के साथ मध्यप्रदेश का नाम रोशन करेगी।
भारतीय राष्ट्रीय फिल्म विकास निगम (एनएफडीसी) ने अनुपम खेर प्रोडक्शंस के सहयोग से अपनी नवीनतम फीचर फिल्म, तन्वी द ग्रेट का भव्य रेड कार्पेट प्रीमियर 13 जुलाई को पीवीआर प्लाजा, कनॉट प्लेस, नई दिल्ली में आयोजित किया, जिसकी स्क्रीनिंग शाम 7:30 बजे शुरू हुई। एक मार्मिक और सशक्त कहानी, "तन्वी द ग्रेट" एक युवा ऑटिस्टिक महिला की कहानी है, जो दुनिया के सबसे ऊंचे युद्धक्षेत्र में खड़ी होने का साहस करती है, जहां उसके दिवंगत पिता कभी खड़े नहीं हो सके। इस फिल्म में शुभांगी, अनुपम खेर, इयान ग्लेन, पल्लवी जोशी, जैकी श्रॉफ, बोमन ईरानी, नासिर, करण टैकर और अरविंद स्वामी प्रमुख भूमिकाओं में हैं। प्रीमियर में दिल्ली की मुख्यमंत्री डॉ. रेखा गुप्ता भी मौजूद थीं। दिल्ली सरकार के मुख्य सचिव श्री धर्मेंद्र, विदेश सचिव श्री विक्रम मिस्री और सूचना एवं प्रसारण मंत्रालय के सचिव श्री संजय जाजू के साथ-साथ सरकार और फिल्म जगत के अन्य गणमान्य व्यक्ति भी मौजूद थे, जिन्होंने लचीलेपन, समावेशिता और अदम्य मानवीय भावना का जश्न मनाने वाली कहानियों के महत्व पर जोर दिया।
मध्यप्रदेश, एक बार फिर विश्व सिनेमा के पटल पर छाया हुआ है। 78वें कान्स फिल्म फेस्टिवल में मध्यप्रदेश में शूट हुई और श्री नीरज घेवान द्वारा निर्देशित फीचर फिल्म “होमबाउंड” को सराहना मिली है। फिल्म का “कान्स अन सर्टेन रिगार्ड” सेक्शन में प्रीमियर शो कान्स फिल्म फेस्टिवल के दौरान किया गया। यह एकमात्र भारतीय फिल्म है, जो इस प्रतिष्ठित सेक्शन में चुनी गई है। कान्स फिल्म फेस्टिवल में अंतर्राष्ट्रीय फिल्म निर्माताओं, निर्देशकों के साथ–साथ कलाकारों और दर्शकों द्वारा फिल्म की प्रशंसा करते हुए 9 मिनट तक खड़े होकर तालियां बजाते हुए सम्मान किया गया। अंतर्राष्ट्रीय ख्याति प्राप्त, ऑस्कर विजेता, अमेरिकन फिल्म मेकर डायरेक्टर मार्टिन स्कॉर्सेस के इस फिल्म से जुड़ने से इसकी अंतर्राष्ट्रीय साख मजबूत हुई है। यह उपलब्धि न केवल राज्य की सृजनात्मक संभावनाओं को दर्शाती है, बल्कि इसे वैश्विक फिल्म निर्माण के लिए एक पसंदीदा लोकेशन के रूप में स्थापित करती है। वर्ष 2024 में फिल्म ‘होमबाउंड’ का बड़ा हिस्सा मध्यप्रदेश के भोपाल और आसपास के क्षेत्र में प्राकृतिक, सांस्कृतिक और शहरी परिवेश में शूट किया गया है।
मध्यप्रदेश ने निर्यात क्षेत्र में उल्लेखनीय सफलता प्राप्त करते हुए अब तक का सर्वोच्च निर्यात 66,218 करोड़ रु. दर्ज किया है। Federation of Indian Export Organisations (FIEO) की नवीनतम रिपोर्ट के अनुसार, प्रदेश का मर्चेंडाइज एक्सपोर्ट 66,218 करोड़ रु. और आईटी कंपनियों (SEZs) का निर्यात 4,038 करोड़ रु. रहा। निरंतर औद्योगिक विकास और आर्थिक सशक्तिकरण के परिणामस्वरूप मध्यप्रदेश की राष्ट्रीय निर्यात रैंकिंग 15वें से बढ़कर 11वें स्थान पर पहुँची है। यह उपलब्धि इसलिए भी विशेष है क्योंकि प्रदेश के अनेक निर्यातक अपने उत्पादों का निर्यात गुजरात और महाराष्ट्र के बंदरगाहों के माध्यम से करते हैं, जिससे उनके आँकड़े प्रायः अन्य राज्यों के खाते में दर्ज हो जाते हैं। प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी की मौजदगी में मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव द्वारा हाल ही में मध्यप्रदेश एक्सपोर्ट प्रमोशन पॉलिसी का शुभारंभ किया। इस नीति के तहत निर्यातकों को प्रोत्साहन, वित्तीय सहायता और विभिन्न सुविधाएँ प्रदान की जा रही हैं, जिससे प्रदेश के उत्पादों को वैश्विक बाजारों तक पहुँचाने में नई गति मिली है। प्रदेश सरकार और मध्यप्रदेश औद्योगिक विकास निगम (MPIDC) द्वारा निर्यात वृद्धि के उद्देश्य से वन डिस्ट्रिक्ट वन प्रोडक्ट (ODOP) एवं एक्सपोर्ट प्रमोशन विषयक कार्यशालाएँ और प्रदर्शनियाँ निरंतर आयोजित की जा रही हैं। इन कार्यक्रमों का उद्देश्य प्रदेश के कारीगरों, किसानों, उद्यमियों और MSME इकाइयों को अंतरराष्ट्रीय मानकों, निर्यात प्रक्रियाओं और वैश्विक अवसरों से जोड़ना है।
मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव के निर्देश पर कटनी जिले के कैमोर में हुई घटना पर पुलिस प्रशासन ने सख्त कार्रवाई की है। मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने घटना को दुखद और दुर्भाग्यपूर्ण बताते हुए कटनी जिला प्रशासन और पुलिस अधिकारियों को तत्परता से कार्रवाई के निर्देश दिए। पुलिस ने बुधवार की सुबह दोनों आरोपियों को कजरवारा गांव से गिरफ्तार कर लिया है। डीआईजी अतुल सिंह, कलेक्टर कटनी आशीष तिवारी और पुलिस अधीक्षक कटनी अभिनय विश्वकर्मा पूरे समय विजयराघवगढ़ में मौजूद रहकर कानून व्यवस्था का जायजा लिया और शांति व्यवस्था कायम की। मंगलवार को दो पक्षों के विवाद में कैमोर निवासी नीलेश रजक की दो आरोपियों ने गोली मारकर हत्या कर दी थी। टीआई एवं आरक्षक लाइन अटैच पूरे मामले के बाद टीआई कैमोर अरविंद चौबे और पुलिस आरक्षक प्रेमशंकर पटेल को निलंबित कर पुलिस लाइन अटैच कर दिया गया है। मुख्यमंत्री डॉ मोहन यादव के निर्देश के बाद पुलिस ने टीम गठित कर आरोपियों की खोजबीन शुरू की। दोनों आरोपियों अकरम और प्रिंस जोसेफ को पुलिस ने कजरवारा से गिरफ्तार किया। गिरफ्तारी के दौरान आरोपियों ने पुलिस पर फायर किया, आत्मरक्षा में पुलिस की जवाबी फायरिंग में दोनों आरोपी घायल हो गए हैं। उन्हें तत्काल इलाज के लिए जबलपुर रवाना किया गया है।
मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने 'रन फॉर साइबर अवेयरनेस' जागरूकता अभियान के आयोजन के लिए मध्यप्रदेश पुलिस सहित सभी प्रतिभागियों और सहयोगियों को बधाई देते हुए कहा कि साइबर अपराध से लड़ाई केवल पुलिस की नहीं, पूरे समाज की है। तकनीक और कानून अपने स्थान पर हैं, पर सबसे बड़ा हथियार जागरूकता है। जब नागरिक जागरूक होगा, तभी राष्ट्र सुरक्षित होगा। उन्होंने कहा कि इस कार्यक्रम ने डिजिटल युग की सबसे जरूरी पहल को जन-आंदोलन का रूप दिया है। हम जिस रफ्तार से डिजिटल रूप से मजबूत हुए हैं उसी रफ्तार से नई परेशानियां और खतरे सिर उठाने लगे हैं। जिस तकनीक ने हमें जोड़ा है उसी तकनीक ने अपराधियों को नए हथियार भी दिए हैं और आज ठगी के नए-नए तरीके आ गए हैं। डिजिटल अरेस्ट, फेक प्रोफाइल, हैकिंग, डेटा ब्रीचिंग, ऑनलाइन फ्रॉड, ओटीपी फॉड, ऑनलाइन शॉपिंग धोखाधड़ी और फेक इन्वेस्टमेंट लिंक जैसे अपराध बढ़ते जा रहे हैं। ये हमारे समाज के हर वर्ग को प्रभावित कर रहे हैं। 'रन फॉर साइबर अवेयरनेस' डिजिटल युग में नागरिक सुरक्षा का कर्तव्य निभा रही है। साइबर सिपाही, जिम्मेदारी, सुरक्षा और जागरूकता की दौड़ के लिए एकजुट हुए हैं। मुख्यमंत्री डॉ. यादव बुधवार को मध्यप्रदेश पुलिस द्वारा साइबर सुरक्षा और जागरूकता के लिए आयोजित रन फॉर साइबर अवेयरनेस के प्रतिभागियों को संबोधित कर रहे थे। मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने रन के लिए एकत्र प्रतिभागियों को अटल पथ स्थित प्लेटिनम प्लाजा से झंडी दिखाकर रवाना किया। यह रन अटल पथ से एपेक्स बैंक तिराहा होते हुए टी.टी. नगर स्टेडियम पर पूर्ण हुई। इस अवसर पर विधायक श्री भगवानदास सबनानी, पुलिस महानिदेशक श्री कैलाश मकवाना सहित वरिष्ठ पुलिस अधिकारी उपस्थित थे। मुख्यमंत्री डॉ. यादव को कार्यक्रम स्थल पहुंचने पर पुलिस बैंड की धुन के साथ सलामी दी गई।
भोपाल- किसी ने चिट्ठी लिखी की शिवराज सिंह आदिवासियों को भड़काता है, इस पर प्रकरण दर्ज करो। अरे प्रकरण क्या, जिंदगी भी चली जाए तो कोई दिक्कत नहीं। केन्द्रीय कृषि मंत्री शिवराज सिंह चौहान, बुधवार को भैरूंदा में अनुसूचित जनजातीय पंचायत में शामिल हुए और जनसमूह को संबोधित किया। केन्द्रीय कृषि एवं किसान कल्याण मंत्री शिवराज सिंह चौहान बुधवार को अपने संसदीय क्षेत्र स्थित भैरूंदा पहुंचें और अनुसूचित जनजातीय पंचायत में शामिल हुए। जनजातीय पंचायत में शिवराज सिंह ने बहनों से संवाद किया और उनकी समस्याएं सुनी। इस दौरान केन्द्रीय कृषि मंत्री ने कहा कि, मैं आदिवासी भाई-बहनों के साथ कभी भी अन्याय नहीं होने दूंगा। मैं सदैव आदिवासी हितों के लिए उनके साथ खड़ा हूं। वहीं शिवराज सिंह चौहान ने कार्यक्रम के बाद बहनों के साथ नीचे बैठकर खाना भी खाया। जनजातीय बहनों के साथ अन्याय नहीं होने दूंगा केंद्रीय कृषि मंत्री शिवराज सिंह चौहान ने भैरूंदा में आदिवासियों को मिले जमीन खाली करने के नोटिस के मामले में कहा कि, मैं कभी भी जनजातीय भाई-बहनों के साथ अन्याय नहीं होने दूंगा। उन्होंने कहा कि, भारतीय जनता पार्टी की सरकार आदिवासी हितैषी हैं और प्रदेश के मुख्यमंत्री डॉ मोहन यादव भी आदिवासियों के प्रति संवेदनशील हैं। शिवराज सिंह ने कहा कि, आदिवासियों की जमीनों के संबंध में मुख्यमंत्री से भी चर्चा करूँगा और उन्हें इस पूरे विषय से अवगत करवाएंगे।
मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने कहा है कि मध्यप्रदेश, देश का दिल है। नदियों के मायके और बाघों की सहज दृश्यता वाली ये वो पवित्र धरती है, जिसमें भगवान श्रीकृष्ण ने अपना बचपन बिताया और शिक्षा-दीक्षा भी प्राप्त की। मध्यप्रदेश और असम का 5 हजार साल पुराना संबंध है। इतिहास में श्रीकृष्ण और माता रूक्मणी प्रसंग में मध्यप्रदेश और असम आपस में जुड़े हैं। बावन शक्तिपीठों में से एक देवी कामाख्या शक्तिपीठ असम की धरती पर है और मध्यप्रदेश में कालों के काल बाबा महाकाल विराजमान हैं। मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने कहा कि मध्यप्रदेश ह्रदय प्रदेश होने के साथ आज देश का सबसे उपयुक्त निवेश प्रदेश है। मध्यप्रदेश की देश में केंद्रीय स्थिति, भरपूर बिजली-पानी, कुशल श्रमशक्ति और उत्कृष्ट लॉजिस्टिक्स सुविधाओं से हमारा राज्य उद्योग स्थापना के लिए देश का आइडियल डेस्टिनेशन बन चुका है। मध्यप्रदेश की देश के प्रमुख शहरों से बेहतरीन कनेक्टिविटी भी निवेशकों को अतिरिक्त लाभ देती है। मध्यप्रदेश में निवेश हर मायने में फायदे का सौदा है। उन्होंने असम राज्य के उद्योगपतियों और निवेशकों से आग्रह किया कि वे मध्यप्रदेश में उपलब्ध अवसरों का लाभ उठाएं और यहां अपने उद्योग एवं निर्माण इकाइयां स्थापित करें। सरकार हर कदम पर निवेशकों को पूरा सहयोग और आवश्यक सुविधाएं भी उपलब्ध कराएगी। मुख्यमंत्री ने कहा कि यदि निवेशक कोई रोजगार आधारित उद्योग लगाते हैं, तो हमारी सरकार बिजली, पानी, कनेक्टिविटी की सुविधा के साथ श्रमिकों के वेतन के लिए 5000 रुपए प्रति श्रमिक की सब्सिडी भी देगी। मुख्यमंत्री डॉ. यादव रविवार को गुवाहाटी के एक निजी होटल में 'इन्टरेक्टिव सेशन ऑन इन्वेस्टमेंट अर्पोच्यूनिटीज इन मध्यप्रदेश' में असम राज्य के उद्योगपतियों और निवेशकों को संबोधित कर रहे थे।
मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव के निर्देश पर सिविल अस्पताल परासिया, जिला छिंदवाड़ा में पदस्थ शिशु रोग विशेषज्ञ डॉ. प्रवीण सोनी को निलंबित कर दिया गया है। साथ ही डॉक्टर सोनी और दवा निर्माता कंपनी के विरुद्ध एफआईआर भी दर्ज की गई है। मुख्यमंत्री डॉ. यादव के निर्देश पर कार्यवाही करते हुए आय़ुक्त लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा तरुण राठी ने डॉ. प्रवीण सोनी को तत्काल प्रभाव से निलंबित करने के आदेश जारी किए हैं। डॉ. सोनी द्वारा निजी प्रैक्टिस के दौरान उपचार के लिए आए शिशुओं के उपचार में गंभीर लापरवाही बरतने और अपने पदीय कर्तव्यों का निर्वहन पूर्ण निष्ठा से नहीं करने के परिणामस्वरूप, मध्यप्रदेश सिविल सेवा (वर्गीकरण, नियंत्रण तथा अपील) नियम 1966 के नियम 9 (1) के अंतर्गत यह कार्यवाही की गई। उल्लेखनीय है कि डॉ. सोनी द्वारा निजी प्रैक्टिस के दौरान शिशुओं को ऐसी दवाइयां पर्चे पर लिखी गई, जिसका सेवन करने के बाद शिशुओं को तेज बुखार और पेशाब में कठिनाई हुई तथा शिशुओं की किडनी पर विपरीत प्रभाव पड़ा। इससे कुछ बच्चों की दु:खद मृत्यु हो गई। निलंबन काल में डॉ. सोनी का मुख्यालय, कार्यालय क्षेत्रीय संचालक, स्वास्थ्य सेवाएं जबलपुर के अधीन किया गया है। प्रकरण में छिंदवाड़ा के थाना परासिया में डॉ. प्रवीण सोनी और कांचीपुरम तमिलनाडु की दवा निर्माता कंपनी मेसर्स श्रीसन फार्मास्युटिकल्स के संचालकगण के विरुद्ध भारतीय न्याय संहिता 2023 की धारा 105,276 तथा औषधि और प्रसाधन सामग्री अधिनियम 1940 की धारा 27ए के अंतर्गत एफआईआर (प्रथम सूचना रिपोर्ट) दर्ज की गई है।
केंद्रीय इलेक्ट्रॉनिकी और सूचना प्रौद्योगिकी मंत्री अश्विनी वैष्णव ने हाल ही में आईआईटी भुवनेश्वर में ‘नमो सेमीकंडक्टर प्रयोगशाला’ की स्थापना को मंजूरी दी है। इस परियोजना को एमपीएलएडी योजना के तहत धनराशि प्रदान की जाएगी। इस परियोजना की अनुमानित लागत 4.95 करोड़ रुपये है।नमो सेमीकंडक्टर लैब युवाओं को उद्योग-अनुकूल कौशल प्रदान करके भारत के विशाल प्रतिभा पूल में योगदान देगी। यह लैब आईआईटी भुवनेश्वर को सेमीकंडक्टर अनुसंधान और कौशल विकास के केंद्र के रूप में स्थापित करेगी। यह लैब पूरे भारत में स्थापित होने वाली चिप निर्माण और पैकेजिंग इकाइयों के लिए प्रतिभाओं को विकसित करने में सहायता करेगी।यह नई प्रयोगशाला ‘मेक इन इंडिया’ और ‘डिजाइन इन इंडिया’ पहलों को और बढ़ावा देगी। यह भारत के तेजी से बढ़ते सेमीकंडक्टर इकोसिस्टम के लिए उत्प्रेरक का काम करेगी। भारत वैश्विक चिप डिजाइन प्रतिभाओं का 20 प्रतिशत हिस्सा रखता है। देश भर के 295 विश्वविद्यालयों के छात्र उद्योग द्वारा उपलब्ध कराए गए नवीनतम ईडीए उपकरणों का उपयोग कर रहे हैं। 20 संस्थानों के 28 छात्रों द्वारा डिजाइन किए गए चिप एससीएल मोहाली में प्रदर्शित किए गए हैं। आईआईटी भुवनेश्वर ही क्यों? ओडिशा को हाल ही में इंडिया सेमीकंडक्टर मिशन के तहत दो सेमीकंडक्टर परियोजनाओं के लिए मंजूरी मिली है। इनमें से एक सिलिकॉन कार्बाइड आधारित मिश्रित सेमीकंडक्टर के लिए एक एकीकृत केंद्र है। दूसरी उन्नत 3डी ग्लास पैकेजिंग केंद्र है। आईआईटी भुवनेश्वर में पहले से ही सिलिकॉन कार्बाइड अनुसंधान एवं नवाचार केंद्र है।
मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव 6 अक्टूबर को जबलपुर में प्रधानमंत्री कॉलेज ऑफ एक्सीलेंस, शासकीय महाकोशल महाविद्यालय के 13 करोड़ 37 लाख रुपये की लागत से निर्मित नवीन शैक्षणिक भवन और शासकीय विज्ञान महाविद्यालय के 10.05 करोड़ रुपये से बने नये शैक्षणिक भवन का भी लोकार्पण करेंगे। साथ ही महाकोशल महाविद्यालय में 3 करोड़ 67 लाख रुपये से बनने वाले भवन का भूमि-पूजन भी करेंगे। मुख्यमंत्री डॉ. यादव महाविद्यालय में प्रतिभा सम्मान कार्यक्रम में शैक्षणिक उत्कृष्टता, खेल, सांस्कृतिक, नवाचार एवं सामाजिक सेवा क्षेत्रों में विशिष्ट उपलब्धि प्राप्त करने वाले विद्यार्थियों को सम्मानित भी करेंगे। कार्यक्रम में लोक निर्माण मंत्री श्री राकेश सिंह, राज्य सभा सदस्य श्रीमती सुमित्रा बाल्मीकि, सांसद श्री आशीष दुबे, महापौर श्री जगत बहादुर सिंह अन्नु, क्षेत्रीय विधायक श्री अशोक रोहाणी, नगर निगम अध्यक्ष श्री रिकुंज विज और जनभागीदारी समिति के अध्यक्ष श्री आशीष राव विशेष रूप से उपस्थित रहेंगे। प्रधानमंत्री कॉलेज ऑफ एक्सीलेंस के प्राचार्य प्रो. अलकेश चतुर्वेदी ने बताया कि प्रधानमंत्री कॉलेज ऑफ एक्सीलेंस महाकोशल कॉलेज के नवीन शैक्षणिक भवन में कुल 19 व्याख्यान कक्ष, प्रशासनिक ब्लॉक, स्मार्ट कक्षाएँ, पुस्तकालय, प्रयोगशालाएँ एवं कॉमन रूम जैसी आधुनिक सुविधाएँ उपलब्ध कराई गई हैं। यह भवन महाविद्यालय को प्रधानमंत्री उत्कृष्टता योजना के अनुरूप प्रदेश के अग्रणी शिक्षण संस्थानों की श्रेणी में स्थापित करने की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम है।
मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने कहा है कि जनजातीय बहुल जिलों में ग्राम सभाओं को अपने गांव के विकास का रोडमैप तैयार करने सक्षम बनाया जा रहा है। राज्य सरकार ग्राम सभाओं को सशक्त बनाने के लिए प्रतिबद्ध है। प्रदेश में दो अक्टूबर को हुई विशेष ग्राम सभाओं ने आपसी विचार-विर्मश कर 4 हजार से ज्यादा विलेज एक्शन प्लान का अनुमोदन किया। शेष ग्राम सभाएं जल्द ही विलेज एक्शन प्लान बनाने की प्रक्रियाएं पूरी करेंगी। विलेज एक्शन प्लान के लिए 30 जनजातीय बहुल जिलों के लिए अधिकारियों के कार्य दल बनाए गए थे। अधिकारियों की टीम गांव में पहुंची और ग्राम सभाओं में उपस्थित होकर आदि कर्मयोगी अभियान के अंतर्गत आदि सेवा पर्व के महत्व को समझाया। ग्राम सभाओं ने जनजाति ग्राम विजन 2030 के लिए ग्राम विशेष एक्शन प्लान का अनुमोदन किया। साथ में यह भी संकल्प लिया कि प्रत्येक गांव में एक आदि सेवा केंद्र स्थापित किया जाएगा। यह सेवा केंद्र एकल खिड़की नागरिक सेवा केंद्र की तरह काम करेगा। इसके माध्यम से स्थानीय लोग आदि सेवा समय, स्वैच्छिक सेवा के अंतर्गत सप्ताह में एक घंटा अपना योगदान करेंगे। सरकारी अधिकारियों को जनजातीय समुदाय की मूल भाषा, बोलियों और संस्कृति से भी जोड़ेंगे। उल्लेखनीय की जनजातीय कार्य मंत्रालय भारत सरकार द्वारा आदि कर्मयोगी अभियान प्रारंभ किया गया है। यह देश में जनजातीय समुदायों के सामाजिक-आर्थिक विकास के लिए ऐतिहासिक पहल है। इसका उद्देश्य जनजातीय क्षेत्र में ग्राम स्तर पर नेतृत्व क्षमता का विकास करना, योजनाओं के प्रभावी क्रियान्वयन को सुनिश्चित करना और शासन-प्रशासन को और अधिक उत्तरदायी बनाना है।